Advertisements

अपराध एवं अपराधियों से समाज को मुक्त करने के लिए संघर्षरत है न्यायिक मानवाधिकार परिषद – नरेंद्र ठाकुर

♦इस खबर को आगे शेयर जरूर करें ♦

Picture of Samachar Drishti Media Group

Samachar Drishti Media Group

कहा प्रदेश भर के सभी 12 जिलों से न्यायिक मानवाधिकार परिषद प्रदेश कार्यकारिणी बन कर तैयार, सभी जिलों में अध्यक्ष भी किये नियुक्त

समाचार दृष्टि ब्यूरो/नाहन

न्यायिक मानवाधिकार परिषद हिमाचल प्रदेश के महासचिव व कार्यकारी प्रदेश अध्यक्ष नरेंद्र ठाकुर ने मिडिया को दिए ब्यान में कहा कि प्रदेश भर के सभी 12 जिलों से प्रदेश कार्यकारिणी बन चुकी है। उन्होंने कहा कि सभी जिलों के अध्यक्ष भी नियुक्त किये जा चुके हैं वहीँ मंडल और तहसील स्तर पर संगठन खड़ा करने हेतु कार्यक्रम प्रक्रिया भी लगभग पूर्ण हो चुकी है। ठाकुर ने कहा कि भविष्य में पंचायत स्तर तक जाने के लिए कार्यक्रम की योजना प्रस्तावित है। प्रदेश स्तर पर एक सलाहकार समिति का गठन हो रहा है जिसकी प्रक्रिया लगभग पूरी हो चुकी है।

उन्होंने बताया कि प्रदेश में न्यायिक मानवाधिकार परिषद का मुख्य उद्देश्य अपराध एवं अपराधियों से समाज को मुक्त कराना तथा नागरिकों को कानूनी अधिकार एवं उचित न्याय दिलाना। पुलिस का भय आम जनता के मन से निकाल कर सही तालमेल व सूझ-बूझ कायम करना तथा गरीब व असहाय लोगों की मदद करना और महिलाओं पर हो रहे अत्याचार पर अंकुश लगाना है। पर्यावरण प्रदूषण को रोकना, खाद्य पदार्थों में मिलावटखोरों पर अंकुश लगाना और समाज में व्याप्त रिश्वतखोरी को खत्म करना है।

परिषद द्वारा लोगों को अपने अधिकारों के बारे में जागरूक करना तथा सरकारी योजनाओं को आम आदमी तक पहुँचाना और समाज में व्याप्त श्रमिक शोषण को रोकने पर बल देना है। दहेज प्रथा पर अंकुश लगाना और पीड़ितों की एफ०आई०आर० दर्ज करवाने में सहायता करना। आये दिन हो रही सड़क दुर्घटनाओं पर अंकुश लगाने हेतु लोंगों को यातायात नियमों का पालन करते हुए अपने वाहनों को सुरक्षित चलाने बारे जागरूक करना। राष्ट्रहित एवं जनहित व भ्रष्ट लोगों का पर्दाफाश करने के लिए समय-समय पर आर०टी०आई का उपयोग करना आदि है।

नरेंद्र ठाकुर ने कहा कि हमारा नारा है कि “जब कोई न सुने, तो हमें चुनें” जिसके तहत समाज में महिला उत्पीड़न, दहेज, दहेज हत्या, श्रमिक शोषण बाल श्रम, साम्प्रदायिक हिंसा, कैदियों का उत्पीड़न गैर कानूनी कार्य, पुलिस कार्य में विफलता, भुखमरी, एफ.आई.आर. दर्ज नहीं करना, ठेकेदारी में बेइमानी बलात्कार, बिना सूचना नौकरी से निकाल देना, घुसखोरी, फर्जी मुठभेड, मजदूरी कराकर पैसे न देना, मौलिक अधिकारों का हनन, अनुसूचित जाति एवं जनजातियों के विरूद्ध अत्याचार इत्यादि पर पूरा संगठन कार्य करेगा ताकि इन सभी से पीडित को न्याय और सुकून मिल सके। उन्होंने कहा कि न्यायिक मानवाधिकार परिषद एक बार नहीं सौ बार नहीं हर बार न्याय कराएगे, जहाँ हुआ अन्याय न्याय दरबार वहीं लगायेगे की थीम पर कार्य करेगा।

उन्होंने लोगों से आवाहन कि इस संगठन में जुडे़ और ज़रूरत मंद और पात्र व्यक्तियों की सेवा के लिए आगे आयें। उन्होंने समस्त प्रदेश वासियों को 55 वें राजत्व दिवस व गणतंत्र दिवस की हार्दिक बधाई एवं ढेरों शुभकामनाएं दी।

व्हाट्सप्प आइकान को दबा कर इस खबर को शेयर जरूर करें

Please Share This News By Pressing Whatsapp Button

Facebook
Twitter
WhatsApp
Telegram
LinkedIn
Email
Print

जवाब जरूर दे

[democracy id="2"]
Advertisements

Live cricket updates

error: Content is protected !!